वे कहते हैं कि ‘उम्र तो बस एक नंबर है’ और इस भारत रत्न पुरस्कार विजेता ने इसे सही साबित कर दिखाया है। चाहे वह 17 साल की उम्र में बीएससी कर रहा हो या 60 साल की उम्र के बाद एक साल में 40 शोध पत्र प्रकाशित कर रहा हो। यह आजीवन छात्र प्रो. सीएनआर राव की कहानी है।…